नई दिल्ली। उपराष्ट्रपति और राज्यसभा के सभापति वेंकैया नायडू ने भारत के चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा के खिलाफ महाभियोग के नोटिस को खारिज कर दिया है। यह नोटिस कांग्रेस के नेतृत्व में विपक्षी दलों ने दिया था। नोटिस खारिज करने के कारण बताते हुए सभापति नायडू ने कहा है कि इन आरोपों से स्पष्ट है कि यह न्यायपालिका की आजादी को कमजोर करने के लिए लगाए गए हैं। नायडू ने 10 पेज के आदेश में कहा है कि जिन सांसदों ने महाभियोग का नोटिस दिया वे स्वयं ही आरोपों के बारे में स्थिर नहीं थे। नोटिस में सत्यापन योग्य आरोप नहीं हैं। जिन सांसदों ने यह प्रस्ताव पेश किया है उन्होंने प्रस्ताव को मीडिया के माध्यम से सार्वजनिक कर संसदीय परंपरा का अनादर किया है। सूत्रों के अनुसार जिन 63 सांसदों ने महाभियोग के नोटिस पर दस्तखत किए हैं वे सभापति के फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दे सकते हैं।
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