अयोध्या विवाद : सुनवाई जनवरी तक टली

नई दिल्ली। अयोध्या राम मंदिर-बाबरी मस्जिद जमीन विवाद मामले में सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई जनवरी तक के लिए टाल दी है। चीफ जस्टिस रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली पीठ ने सोमवार को सुनवाई के दौरान कहा कि जनवरी में उपयुक्त बेंच इस मामले की सुनवाई करेगी। कोर्ट ने इस मुद्दे पर तुरंत सुनवाई की पक्षकारों की दलील को मान्य नहीं किया।
सरकार की ओर से वकील तुषार मेहता ने कोर्ट से अपील की कि यह जानकारी दी जाए कि जनवरी में सुनवाई कब से शुरू होगी। इस पर बेंच ने कहा कि यह निर्णय नई बेंच करेगी। सुनवाई कब से होगी, रोजाना होगी या नहीं इस पर नई बेंच ही फैसला लेगी। उल्लेखनीय है कि सुप्रीम कोर्ट के तत्कालीन चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा, जस्टिस अशोक भूषण और जस्टिस अब्दुल नजीर की बेंच ने आदेश दिया था कि विवादित भूमि के मालिकाना हक वाले दीवानी मामले की सुनवाई तीन जजों की पीठ 29 अक्टूबर से करेगी।
कोर्ट के समक्ष दोनों पक्षकारों की ओर से आग्रह किया गया कि नंवबर में सुनवाई शुरू हो जाए लेकिन चीफ जस्टिस ने कहा कि इस मामले को जनवरी के लिए पहले हफ्ते के लिए टाला जाता है। उसी समय यह तय होगा कि कौन सी बेंच सुनवाई करेगी और तारीख क्या होगी। जल्द सुनवाई की दलील पर कोर्ट ने कहा कि हमारी अपनी प्राथमिकताएं हैं। यह उचित बेंच तय करेगी कि सुनवाई कब से हो। हिंदू पक्षकार संत धर्मानंद ने कोर्ट के आदेश के बाद मीडिया से कहा कि चुनाव को देख सुनवाई की तारीख नहीं बढ़ना चाहिए। यह यह हिंदू-मुसलमान का केस नहीं बल्कि प्रॉपर्टी विवाद का मामला है है। कानून बनाने की बात करने वाले जनता को भ्रम में डालते हैं। अब हमें इंतजार ही करना होगा। हमें आंदोलन नहीं करना है। हम चाहते थे कि निर्णय जल्द हो।